The smart Trick of Subconscious Mind Power That Nobody is Discussing




हजरत पैगम्बर ने उस बीमार से काह, "तूने कोई अनुचित प्रार्थना की हैं। तूने भूल में विष खा लिया है। याद कर, तूने क्या हुआ की?"

ए. तिथियाँ उपयोग की गई है जो जूलियन कैलेंडर, इंग्लैंड में शेक्सपियर के जीवन भर इस्तेमाल हुई थी.

जुन्नून ने जब ये बातें सुनीं तो उन्होंने इन लोगों की परीक्षा करने का विचार किया। वे उन्हें बुरी-बुरी गालियां देने और पागलों की तरह ऊट-पटांग बकने लगे। पत्थर-लकड़ी, जो हाथ लगा, फेंक-फेंककर मारने लगे।

तुर्कं ने कहा, "अगर मैं इस घटना का जरा भी संकेत कर देता ता उसी समय तेरा पित्त हो जाता और डर के मारे तेरी आधी जान निकल जाती। उस समय न तुझमें

यह कहकर उस चरवाहे ने कपड़े फाड़ डाले, एक ठंडी सांस ली और जंगल में घुसकर गायब हो गया। इधर मूसा को आकाशावाणी सुनायी दी, "ऐ मूसा! तूने हमारे बन्देको हमसे क्यों जुदा कर दिया? तू संसार में मनुष्यों को मिलाने आया है या अलग करने? जहां तक सम्भव हो, जुदा करने का इरादा न कर। हमने हर एक आदमी का स्वभाव अलग-अलग बनाया है और प्रत्येक मनुष्य को भिन्न-भिन्न की बोलियां दी हैं। जों बात इसके लिए अच्छी है, वह तेर लिए बुरी है। एक बात इसके हक में शहद का असर रखती है और वही तेरे लिए विष का। जो इसके लिए प्रकाश है, वह तेरे लिए आग है। इसके हक में गुलाब का फूल और तेरे लिए कांटा हैं। हम पवित्रता, अपवित्रता, कठोरता और कोमलता सबसे अलग हैं। मैंने इस सृष्टि की रचना इसलिए नहीं की कि कोई लाभ उठाऊं, बल्कि मेरा उद्देश्य तो केवल यह है कि संसार के लोगों पर अपनी शक्ति और उपकार प्रकट करुगं। इनके जाप और भजन से मैं कुछ पवित्र नहीं हो जाता, बल्कि जो मोती इनके मुंह से झड़ते हैं, उनसे स्वयं ही इनकी आत्मा शुद्ध होती है। हम किसीके वचन या प्रकट आचरणों को नहीं देखते। हम तो ह्दय के

मैंने पहले ही तुम्हारे काम के अन्तिम परिणाम को देखकर दूरदर्शी

"मियां, जरा खुरेरा भी फिर देना, here और ठंड का मौसम है खच्चर की पीठ पर झूल भी डाल देना।"

आन्तरिक भावों को देखते हैं। ऐ मूसा, बुद्धिमान मनुष्यों की प्रार्थनाएं और हैं और दिलजलों की इबादत दूसरी है। इनका ढंग ही निराला है।"

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आप तो धर्म-शास्त्र के विद्वान हैं और ये सैयद हैं। हम तुम-जैसे सज्जनों के प्रताप से ही रोटी खाते हैं और तुम्हारी समझ के परों पर उड़ते हैं। दूसरे पुरुष हमारे बादशाह हैं, क्योंकि सैयद हैं और हमारे रसूल के वंश के हैं। लेकिन इस पेटू सूफी में कौन-सा गुण है, जो तुम-जैसे बादशाहों के संग रहे? अगर वह वापस आये तो उसे रुई की तरह धुन डालूं। तुम लोग एक हफ्ते तक मेरे बाग में निवास करो। बाग ही क्या, मेरी जान भी तुम्हारे लिए हाजिर हैं, बल्कि तुम तो मेरी दाहिनी आंख हो।"

[मनुष्य की हर बुरी आदत कांटों की झाड़ी है। वह अनेक बार अपने आचरणों पर लज्जित होकर पश्चात्ताप करता है। वह अपनी आदतों से स्वयं भी तंग आ जाता है, फिर भी उसकी आंखें नहीं खुलतीं। दूसरों के कष्ट जो उसके ही स्वभाव के कारण हैं, अगर वह उसकी परवा नहीं करता तो न सही; लेकिन उसे अपने घाव का अनुभव तो होना ही चाहिए।] १

एक ऐसा गुण, जो सबसे तुच्छ है, मैं बतलाता हूं, क्योंकि संक्षिप्त बात ही लाभकारी होती है।"

[संसार का बादशाह परमेश्वर तुम्हारे आचराणों को देखने के लिए सदैवा तुम्हारे साथ रहता है। उसके साथ समझकर तुम्हें हमेशा उससे डरते रहना चाहिए और बुरे कामों की ओर कभी ध्यान नहीं देना चाहिए।]१

शेख जवाब देता खुदा का शुक्र है खच्चर तो मजबूत है। मगर वह खच्चर जिसने रात भर लाहौल खाई हो (अर्थात् चारा न मिलने के कारण रातभर 'दूर ही शैतान' की रट लगाता रहा), सिवा इस ढंग के रास्ता तय नहीं कर सकता और उसकी यह हरकत मुनासिब मालूम होती है, क्योंकि जब उसका चारा लाहौल था तो रात-भर इसने तसबीह (माला) फेरी अब दिन-भर सिज्दे करेगा (अर्थात् गिर-गिर पड़ेगा)

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